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भारत–इस्राइल संबंधों में बड़ी प्रगति: फ्री ट्रेड एग्रीमेंट के टर्म्स ऑफ रेफरेंस पर हस्ताक्षर, कई नए सेक्टर में खुले अवसर

Bolta Sach News
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Major progress in India-Israel relations

बोलता सच/तेल अवीव, इस्राइल। भारत और इस्राइल के द्विपक्षीय संबंधों में एक ऐतिहासिक मील का पत्थर जुड़ गया है। दोनों देशों ने फ्री ट्रेड एग्रीमेंट (एफटीए) से जुड़े टर्म्स ऑफ रेफरेंस यानी समझौते की मूल शर्तों पर औपचारिक तौर पर हस्ताक्षर कर दिए। गुरुवार को तेल अवीव में भारत के उद्योग एवं वाणिज्य मंत्री पीयूष गोयल और इस्राइल के अर्थव्यवस्था एवं व्यापार मंत्री नीर बरकात ने समझौते पर दस्तखत किए। इससे दोनों देशों के बीच टेक्नोलॉजी, कृषि, सेवा क्षेत्र और मत्स्य पालन सहित कई उद्योगों में व्यापार और निवेश के नए रास्ते खुलेंगे।

रणनीतिक साझेदारी को नई रफ्तार

हस्ताक्षर समारोह के दौरान मंत्री पीयूष गोयल ने कहा कि भारत और इस्राइल दोनों ने चुनौतियों का सामना करते हुए संघर्ष व जीवट का परिचय दिया है। आतंकवाद के खिलाफ लड़ाई हो या सुरक्षा के क्षेत्र में सहयोग—दोनों देशों के बीच कई समानताएं हैं। गोयल ने स्पष्ट किया कि एफटीए के लिए तय किए गए टर्म्स ऑफ रेफरेंस में दोनों राष्ट्रों के हितों की पूरी सुरक्षा की गई है।

उन्होंने यह भी कहा कि व्यापारिक सहयोग में ऐसा कोई मुद्दा नहीं है जिससे दोनों देशों के हितों का टकराव हो। बल्कि एफटीए दोनों की आर्थिक शक्ति को आगे बढ़ाने का एक मजबूत माध्यम साबित होगा।

भारत से कृषि उत्पादों के आयात में इस्राइल की रुचि

मंत्री गोयल के अनुसार, इस्राइल भारत से कृषि संबंधी उत्पाद खरीदने में गहरी रुचि रखता है। एफटीए की शर्तों के तहत:

  • केला

  • दूध और डेयरी उत्पाद

  • आम

  • अन्य एग्रीकल्चर उत्पाद

के लिए नॉन-टैरिफ बैरियर्स कम करने, और फास्ट ट्रैक अप्रूवल सिस्टम लागू करने पर सहमति बनी है। इससे भारतीय किसानों और कृषि आधारित उद्योगों को बड़ा बाजार मिलेगा।

इसके साथ ही इनोवेशन और रिसर्च सहयोग को भी समझौते का मुख्य हिस्सा बनाया गया है।

टेक्नोलॉजी सेक्टर में बड़े अवसर

इस्राइल लंबे समय से दुनिया की प्रमुख टेक्नोलॉजी हब में से एक माना जाता है। इसीलिए समझौते में हाई-टेक क्षेत्रों पर विशेष रूप से जोर दिया गया है। दोनों देश निम्नलिखित क्षेत्रों में टेक्नोलॉजी ट्रांसफर, को-डेवलपमेंट और सहयोग को आगे बढ़ाएंगे:

  • स्पेस टेक्नोलॉजी

  • साइबर सिक्योरिटी

  • डिफेंस टेक्नोलॉजी

  • आर्टिफिशियल इंटेलिजेंस (AI)

  • क्वांटम कंप्यूटिंग

इस्राइल के मंत्री नीर बरकात ने कहा, “हम कई उत्पाद नहीं बनाते, लेकिन दुनिया की अत्याधुनिक टेक्नोलॉजी तैयार करते हैं। भारत बड़ा देश है और तेजी से आगे बढ़ रहा बाजार है। हम वह हर टेक्नोलॉजी देने को तैयार हैं जिसकी भारत को जरूरत है। भारत पूरे एशिया के लिए एक टेक हब बन सकता है।”

कौशल विकास और मानव संसाधन में सहयोग

समझौते में ह्यूमन रिसोर्स और स्किल डेवलपमेंट को भी शामिल किया गया है। यानी भारत और इस्राइल दोनों देशों की मांग के अनुसार:

  • प्रशिक्षण,

  • कौशल विकास,

  • रोजगार के अवसर,

  • उच्च तकनीकी सहयोग

पर काम करेंगे। इससे युवाओं के लिए नए अवसर पैदा होंगे और दोनों देशों की कार्यशक्ति को लाभ मिलेगा।

तेल अवीव मेट्रो प्रोजेक्ट पर भारत की नजर

हस्ताक्षर कार्यक्रम के दौरान पीयूष गोयल ने एक और बड़े अवसर के बारे में बताया। तेल अवीव शहर में करीब 4.5 लाख करोड़ रुपये का एक विशाल मेट्रो प्रोजेक्ट बनने जा रहा है। भारत ने इस प्रोजेक्ट को पूरा करने के लिए अपनी विशेषज्ञता और तकनीकी क्षमता का प्रस्ताव दिया है।

यदि यह प्रोजेक्ट भारत को मिलता है, तो यह भारतीय इंफ्रास्ट्रक्चर कंपनियों के लिए एक बड़ी उपलब्धि होगी और वैश्विक स्तर पर भारत की इंजीनियरिंग क्षमता का बड़ा प्रदर्शन भी होगा।

एफटीए कब तक पूरा होगा?

जब एफटीए के पूर्ण होने की संभावित समय-सीमा के बारे में पूछा गया, तो दोनों देशों के अधिकारियों ने कहा कि इस पर अभी सटीक समय बताना संभव नहीं है। हालांकि, टर्म्स ऑफ रेफरेंस पर हस्ताक्षर होने से प्रक्रिया आधिकारिक रूप से शुरू हो चुकी है और आगे की बातचीत तेज गति से बढ़ेगी।


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